अब डीपफेक के आरोपी बच नहीं सकेंगे, केन्द्र सरकार ने लिया बड़ा फैसला, 22 जनवरी के बाद आएगा यह नियम!
डीपफेक मामले में केन्द्र सरकार ने बड़ा फैसला लिया है. सरकार आने वाले 7-8 दिन में इसको लेकर आईटी एक्ट के नए नियम जारी करेगी. बताया जा रहा है कि नए नियम के अनुसार, डीपफेक के आरोपियों के खिलाफ आईटी एक्ट के नए नियमों के तहत कार्रवाई होगी.
केंद्रीय मंत्री राजीव चंद्रशेखर ने मंगलवार को कहा कि सरकार अगले सात से आठ दिनों में संशोधित आईटी नियम जारी करने जा रही है. मंत्री ने कहा कि यह सरकार द्वारा डीपफेक पर जारी सलाह पर अलग-अलग प्लेटफार्मों से ‘मिलीजुली प्रतिक्रिया’ देखने के बाद आया है. समाचार एजेंसी एएनआई ने आईटी और इलेक्ट्रॉनिक्स राज्य मंत्री के हवाले से कहा कि हम अगले सात से आठ दिनों में नए संशोधित आईटी नियम जारी करने जा रहे हैं.
सरकार ने डीपफेक को लेकर की दो राउंड की बातचीत
उन्होंने कहा कि हमने सभी मध्यस्थों के साथ डिजिटल इंडिया वार्ता के दो राउंड किए हैं. हमने उनका ध्यान मौजूदा नियमों की ओर आकर्षित किया है. हमने उनका ध्यान नियमों का पालन नहीं करने परिणामों की ओर आकर्षित किया है. हमने एक सलाह जारी की है और हमने यह भी कहा है कि यदि हम अनुपालन से संतुष्ट नहीं हैं, तो हम नए संशोधित नियमों को अधिसूचित करेंगे जो विशेष रूप से गलत सूचना और डीपफेक के मुद्दे पर अधिक विशिष्ट हैं.
सरकार ने प्लेटफार्मों को दिया था निर्देश
पिछले महीने, सरकार ने सभी प्लेटफार्मों को आईटी नियमों का पालन करने का निर्देश दिया था और कंपनियों को प्रतिबंधित कंटेंट के बारे में यूजर्स को स्पष्ट और सटीक शब्दों में जानकारी देने का निर्देश दिया था. रश्मिका मंदाना सहित कई एक्टर्स को निशाना बनाने वाले कई ‘डीपफेक’ वीडियो के बाद सरकार ने सोशल मीडिया प्लेटफार्मों के साथ सख्ती के साथ बातचीत की, क्योंकि लोगों में आक्रोश फैल रहा था और छेड़छाड़ के साथ कंटेंट बनाया जा रहा था.
आपको बता दें कि सोमवार को, राजीव चंद्रशेखर ने कहा था कि सरकार जल्द ही प्लेटफार्मों द्वारा अनुपालन सुनिश्चित करने के लिए आईटी अधिनियम के तहत सख्त नियमों को नोटिफाई करेगी. उनका यह बयान क्रिकेटर सचिन तेंदुलकर द्वारा उनकी एक डीपफेक वीडियो शेयर करने के बाद आया था. एक्स से बात करते हुए, राजीव चंद्रशेखर ने डीपफेक वीडियो को चिह्नित करने के लिए तेंदुलकर को धन्यवाद दिया और कहा कि डीपफेक और एआई द्वारा संचालित गलत सूचना भारतीय यूजर्स की सुरक्षा और विश्वास के लिए खतरा है और नुकसान और कानूनी उल्लंघन का प्रतिनिधित्व करती है, जिसे प्लेटफार्मों को रोकना और हटाना होगा.